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आर्यावर्त वाणी |गयाजी।

शहर के ऐतिहासिक गांधी मैदान में रविवार को वैश्य प्रतिनिधि सम्मेलन का भव्य आयोजन किया गया। बिहार प्रदेश बरनवाल वैश्य महासभा के बैनर तले हुए इस सम्मेलन में विभिन्न जिलों से हजारों महिला-पुरुष पहुंचे। मूसलाधार बारिश के बावजूद गांधी मैदान में उमड़े वैश्य समाज के जनसैलाब ने यह संदेश दिया कि समाज अब राजनीतिक और सामाजिक बदलाव की दिशा में पूरी तरह से एकजुट है।

कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्वलन और राष्ट्रगीत से हुई। सम्मेलन की अध्यक्षता मुन्ना जी डालमिया ने की, जबकि मंच संचालन संजू साव, राजू बर्णमल, रंधीर केसरी और लालजी बाबू ने संयुक्त रूप से किया।

प्रदेश अध्यक्ष राजकुमार प्रसाद उर्फ राजू बरनवाल ने कहा कि आगामी विधानसभा चुनाव में वैश्य समाज को उनकी जनसंख्या और वोट के अनुपात में राजनीतिक हिस्सेदारी मिलनी चाहिए। उन्होंने बताया कि गयाजी में लगभग 1 लाख 20 हजार और बिहार में 20 से 22 प्रतिशत तक वैश्य समाज की आबादी है। उन्होंने स्पष्ट किया कि समाज केवल समर्थन तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि अब नेतृत्वकारी भूमिका निभाने के लिए तैयार है।

मुख्य अतिथि के रूप में प्रदेश अध्यक्ष आनंद कुमार, सुंदर साहू, संयोजक कैलाश डालमिया, संतोष प्रसाद गुप्ता, संजू साव, संजय भदानी, रणधीर शिव केसरी, लालजी प्रसाद सहित विभिन्न जिलों के प्रतिनिधियों ने भी मंच साझा किया। सभी वक्ताओं ने यह अपील की कि आगामी चुनाव में किसी भी दल से टिकट मिलने पर वोट केवल वैश्य उम्मीदवार को ही दिया जाएगा।

जिलों से आए वक्ताओं ने 2024 लोकसभा चुनाव का उदाहरण देते हुए कहा कि जैसे जहानाबाद और कराकाट में समाज ने एकजुट होकर वोट दिया, उसी तरह विधानसभा में भी वैश्य समाज को अपनी पहचान और शक्ति का एहसास कराना होगा।

सम्मेलन में जिला परिषद अध्यक्ष नैना देवी, अशोक स्वर्णकार, रवि भदानी, राजू कुमार गुप्ता, अरुण कुमार, राजेश मस्तान, रूपेश वर्मा, मनोज कुमार, विक्की बरनवाल, विना कुमारी, लक्ष्मी देवी, बैजू प्रसाद, राजू कसेरा, नागेंद्र लोहानी, अनिल अनल, अनिल गुप्ता, विनय जैन सहित हजारों वैश्य परिवारों की मौजूदगी रही।

इस सम्मेलन ने साफ संदेश दिया कि वैश्य समाज आने वाले समय में केवल सहयोगी नहीं बल्कि निर्णायक भूमिका में रहेगा।

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